रायपुर। 30 नवंबर 2025। छत्तीसगढ़ की राजधानी नवा रायपुर में आयोजित 60वीं डीजीपी-आईजी कॉन्फ्रेंस के दूसरे दिन प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि देश की सुरक्षा केवल सुरक्षा एजेंसियों की नहीं, बल्कि हर नागरिक की सामूहिक जिम्मेदारी है। पीएम मोदी ने इस दौरान पुलिस बलों से आधुनिक तकनीक, डाटा-ड्रिवन मॉडल और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आधारित समाधान को तेजी से अपनाने की अपील की।
प्रधानमंत्री ने कहा कि नई तकनीकों को अपनाने से न सिर्फ सुरक्षा तंत्र मजबूत होता है, बल्कि अपराध नियंत्रण और आतंकवाद-निरोध में भी गति आती है। उन्होंने चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में भी पुलिस बलों की सेवा, समर्पण और त्याग की सराहना की।
तकनीक के उपयोग और साझा रणनीति पर जोर
पीएम मोदी ने कहा कि पुलिसिंग को भविष्य-ready बनाने के लिए डिजिटल टूल्स का उपयोग और राज्यों के बीच साझा रणनीति बेहद जरूरी है।
उन्होंने कहा कि—
- “बेस्ट प्रैक्टिस शेयर करने से राज्यों के बीच सहयोग मजबूत होता है।”
- “राष्ट्रीय स्तर पर एकीकृत सुरक्षा ढांचा तैयार करने में यह प्रक्रिया अहम भूमिका निभाती है।”
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और प्रधानमंत्री मोदी की मौजूदगी में शनिवार को चार महत्वपूर्ण सत्र आयोजित किए गए, जिनमें निम्न मुद्दों पर विस्तृत चर्चा हुई—
- वामपंथी उग्रवाद
- आतंकवाद-निरोध
- आपदा प्रबंधन
- महिला सुरक्षा
- पुलिसिंग में एआई व फोरेंसिक तकनीक का उपयोग
राज्यों ने रखी अपनी-अपनी कानून-व्यवस्था की रिपोर्ट
देशभर के पुलिस प्रमुखों ने अपने-अपने राज्यों की सुरक्षा स्थिति, महिला सुरक्षा में तकनीक के उपयोग, जन-आंदोलन प्रबंधन, फोरेंसिक साइंस की क्षमता बढ़ाने और अनुसंधान-आधारित पुलिसिंग पर प्रेजेंटेशन दिए।
शाम के सत्र में आईबी के विशेष निदेशक तपन कुमार डेका ने “विजन 2047 – भारत की आंतरिक सुरक्षा का रोडमैप” प्रस्तुत किया।
छत्तीसगढ़ के डीजीपी अरुण देव गौतम ने भी राज्य की सुरक्षा चुनौतियों और रणनीतियों पर विस्तृत प्रस्तुति दी।
आज पुलिस पदक से सम्मानित होंगे अधिकारी
सम्मेलन ऐसे समय में आयोजित हुआ है जब कुछ सप्ताह पूर्व लाल किले के पास हुए कार विस्फोट में शामिल सफेदपोश आतंकी मॉड्यूल का खुलासा हुआ था। इस फोरम के जरिए राज्यों के अधिकारियों को नई तकनीकों और नीतियों की जानकारी मिली है, जिसका उपयोग वे अपने-अपने प्रदेशों में कर सकेंगे।
तीन दिवसीय सम्मेलन का रविवार को समापन होगा। अंतिम दिन प्रधानमंत्री पुलिस पदक प्रदान करेंगे।
दो दिनों में इन प्रमुख विषयों पर हुआ मंथन
- जन-आंदोलनों के प्रभावी प्रबंधन के लिए मजबूत तंत्र
- भारतीय भगोड़ों की वतन वापसी के लिए रोडमैप
- अनुसंधान में फोरेंसिक तकनीक का अधिक उपयोग
- अपराध समाधान दर बढ़ाने और सफल जांच की रणनीतियाँ












